गोरखपुर, अक्टूबर 8 -- गोरखपुर। वरिष्ठ संवाददाता दिमाग में होने वाले ट्यूमर की सर्जरी कान के रास्ते हो सकती है। खास बात यह है कि इस सर्जरी से फेशियल नर्व का नुकसान नहीं होता। सर्जरी के बाद मरीज का मुंह टेढ़ा नहीं होगा। मरीज सामान्य जीवन जी सकता है। यह जानकारी दी बीआरडी मेडिकल कॉलेज के नाक कान गला रोग के विभागाध्यक्ष डॉ. आरएन यादव ने। वह मंगलवार को मेडिकल कॉलेज में चल रहे एनाटॉमी कॉन्फ्रेंस के अंतिम दिन बतौर मुख्य वक्ता मौजूद रहे। उन्होंने कान की आंतरिक संरचना पर व्याख्यान दिया। उन्होंने बताया कि कान की संरचना जहां दिमाग से जुड़ती है। वहां पर ट्यूमर हो जाता है। इसे सीपी एंगल ट्यूमर कहते हैं। आमतौर पर न्यूरो सर्जन इसकी सर्जरी में कान के पीछे से चीरा लगाते हैं। सर्जरी की यह तकनीक रिस्की है। कान के पीछे जहां चीरा लगता है वहीं से फेशियल नर्व गु...