नई दिल्ली, जुलाई 18 -- हर साल सावन में करोड़ों की तादाद में कांवड़िये सुदूर स्थानों से आकर गंगा नदी से विभिन्न पात्रों में जल भरते हैं और उससे अपने मन्नत वाले शिवालय में शिवलिंग का जलाभिषेक करते हैं। बिहार-झारखंड के कांवड़िये सुल्तानगंज से जल भरकर झारखंड में देवघर स्थित प्रसिद्ध बाबा वैद्यनाथ धाम मंदिर में जलाभिषेक करते हैं। बिहार में पहलेजा घाट से गंगाजल लेकर मुजफ्फरपुर के गरीब स्थान शिव मंदिर में भी जलाभिषेक की परंपरा है। उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के कांवड़िये मुख्य रूप से हरिद्वार से जल उठाते हैं और अपने अपने गांव या अभीष्ट शिव मंदिरों में जलाभिषेक करते हैं। हालांकि, कई लोग अपने नजदीक की पवित्र नदियों से जल लेकर गांव के मंदिरों तक की भी यात्रा करते हैं। कांवड़ यात्रा मुख्य रूप से उत्तर भारत में ही प्रसिद्ध है। सोमवार के दिन का इसमें वि...