शामली, अक्टूबर 27 -- शहर के कैराना रोड स्थित जेजे फार्म में चल रही श्रीराम कथा के तीसरे दिन कथा व्यास संत विजय कौशल महाराज ने भगवान श्रीराम के जन्मोत्सव के उपरांत बाल लीलाओं, ताड़का व सुबाहु वध तथा विश्वामित्र के यज्ञ रक्षा प्रसंग का मनोहारी चित्रण प्रस्तुत किया। उन्होने ने कथा में धन्ना जाट की कथा सुनाते हुए कहा कि कलयुग में भगवान के दर्शन जिनको भी हुए, वे सभी गृहस्थ लोग ही थे। प्रसंग वश उन्होंने भगवान शंकर और पार्वती संवाद का उल्लेख करते हुए बताया कि जब भगवान श्रीराम का अवतार हुआ, तब शंकर भगवान कैलाश से चोरी-छिपे मनुष्य रूप धारण कर अवध पहुंचे थे। द्वारपालों ने उन्हें अंदर नहीं जाने दिया तो भगवान श्रीराम ने बाल रूप में रोना प्रारंभ कर दिया। जब शंकर जी को महल में बुलाया गया और बालक राम ने नेत्र भरकर उन्हें देखा तो भक्त और भगवान की दृष्टि म...
Click here to read full article from source
To read the full article or to get the complete feed from this publication, please
Contact Us.