अल्मोड़ा, फरवरी 22 -- अधिवक्ताओं ने शनिवार को डीएम के माध्यम से विधि मंत्रालय और राष्टपति को ज्ञापन भेजा। एडवोकेट अमेंडमेंट बिल-2025 के कई बिंदुओं पर आपत्ति जताई। आपत्ति वाले प्रावधानों को रद्द करने की मांग की। एडवोकेट अमेंडमेंट बिल 2025 को लेकर सर्वोच्च न्यायालय और उच्च न्यायालय अधिवक्ता नितिन जैन, अल्मोड़ा बार एड. पीसी तिवारी, एड. संजय कुमार अग्रवाल, एड. दीवान सिंह लटवाल, एड. भानु प्रकाश तिलारा, एड. नारायण राम आदि के नेतृत्व में में एक समिति का गठन किया गया। समिति ने बिल का अध्ययन कर कई बिंदुओं पर आपत्ति जताई। डीएम के माध्यम से विधि मंत्रालय और राष्ट्रपति को ज्ञापन भेजा। कहा कि धारा-2 में अधिवक्ता शब्द का विस्तार किया गया है। यह आपत्तिजनक है और अधिवक्ताओं की विशिष्टता को समाप्त करता है। धारा-33 ए में प्रैक्टिस के अधिकार को सीमित करने का...