रांची, अक्टूबर 30 -- रांची, हिन्दुस्तान ब्यूरो। ऑल इंडिया पावर इंजीनियर्स फेडरेशन (एआईपीईएफ) ने गुरुवार को प्रेस बयान में कहा है कि 10 अक्तूबर को हुई केंद्रीय मंत्रियों के समूह की बैठक में राज्य डिस्कॉम्स को चेतावनी दी गई कि तीन निजीकरण विकल्पों में से एक का चयन करें। ऐसा नहीं करने पर केंद्र से मिलने वाली सहायता बंद कर दी जाएगी। मंत्री समूह की बैठक में उत्तर प्रदेश, आंध्र प्रदेश, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, राजस्थान व तमिलनाडु के ऊर्जा मंत्रियों ने भाग लिया। बैठक के मिनट्स पर गहरा रोष जताते हुए एआईपीईएफ के चेयरमैन शैलेंद्र दुबे ने कहा कि कोई भी निजीकरण विकल्प स्वीकार नहीं किया जाएगा। एआईपीईएफ सेक्रेटरी जनरल संजय सिंह ने कहा कि मंत्रियों के समूह की बैठक से जारी मिनट्स के अनुसार, राज्य डिस्कॉम्स को तीन विकल्प प्रस्तुत किए गए हैं। पहला विकल्प ब...