लखनऊ, नवम्बर 2 -- राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद ने दावा किया है कि बिजली की नई दरें बिहार चुनाव की वजह से नहीं घोषित हो रही हैं। बिजली की दरें बढ़ाने की साजिश रची जा रही है। केवल बिहार चुनाव में वोटिंग तक का इंतजार किया जा रहा है। राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष और राज्य सलाहकार समिति के सदस्य अवधेश कुमार वर्मा ने कहा कि विद्युत अधिनियम-2003 की धारा 64(3) के मुताबिक बिजली कंपनियों द्वारा दाखिल वार्षिक राजस्व आवश्यकता प्रस्ताव (एआरआर) स्वीकार किए जाने के 120 दिनों के भीतर बिजली की दरें जारी कर देनी चाहिए। सुनवाई के बाद राज्य सलाहकार समिति की बैठक तक सभी औपचारिकताएं पूरी हो चुकी हैं और 120 दिनों की मियाद 9 सितंबर को ही पूरी हो चुकी है। बावजूद इसके अब तक बिजली की नई दरें जारी नहीं किया जाना अधिनियम की व्यवस्था का उल्लंघन है। बिजली दर ...