देहरादून, दिसम्बर 20 -- उत्तराखंड में इलेक्ट्रिक वाहनों को टैक्स के दायरे में लाया जा सकता है। राजस्व संकट से जूझ रहा परिवहन विभाग इस पहलू पर गंभीरता से पुनर्विचार कर रहा है। सूत्रों केअनुसार पिछले तीन साल से परिवहन विभाग का राजस्व लगातार गिरता जा रहा है। विभाग की सालाना राजस्व वृद्धि की दर चार साल में 36.33 प्रतिशत से गिरकर 6.04 प्रतिशत पर आ चुकी है। परिवहन अधिकारियों का कहना है कि नए साल से ग्रीन सेस को लागू करने की तैयारी की ही जा रही है। यदि ईवी को भी कुछ प्रतिशत टैक्स के दायरे में ले आया जाता तो राज्य की आमदनी में बढ़ोतरी हो सकती है। अपर परिवहन आयुक्त सनत कुमार सिंह ने इसकी पुष्टि की। उन्होंने कहा कि वर्तमान में ईवी को रजिस्ट्रेशन टैक्स, राष्ट्रीय परमिट के शुल्क से रियायत है। इसमें कुछ अंश तक वृद्धि करने पर विचार किया जा रहा है। विभा...