अमरोहा, अगस्त 10 -- हाड़ तोड़ मेहनत कर परिवार का भरण-पोषण करने वाले शहर के करीब 2500 से ज्यादा ई-रिक्शा चालक कई समस्याओं से जूझ रहे हैं। पहले तो शहर में ई-रिक्शा के रूट तय नहीं, उपर से नियम तोड़ने के नाम पर चालान की मोटी रकम का दंड। उस पर भी पुलिस और सवारियों का रूखा व्यवहार। रोज नए नियम निकाले जाने से ई-रिक्शा चालकों पर सख्ती के बाद आफत टूट पड़ी है। समस्याओं के बोझ तले दबे ई-रिक्शा चालक सस्ती दरों पर लोन और स्वास्थ्य बीमा जैसी सुविधाओं की प्रशासन से मांग कर रहे हैं। ताकि वे आत्मनिर्भर बनकर समाज में सम्मानजनक जीवन जी सकें। शहर में ई-रिक्शा चालक कई तरह की समस्याओं का सामना कर रहे हैं। इससे उनके जीवन और पेशा दोनों पर नकारात्मक असर पड़ रहा है। शहर की तेजी से बढ़ती आबादी और शहरीकरण की दौड़ में ई-रिक्शा की संख्या भी लगातार बढ़ रही है। सम्मानजनक जीवन क...