लखनऊ, मई 18 -- एनर्जी टास्क फोर्स (ईटीएफ) को एक बार फिर अपना आदेश बदलना पड़ सकता है। अब पावर कॉरपोरेशन के बजाय सरकार को विद्युत नियामक आयोग से निजीकरण के टेंडर प्रारूप पर अभिमत मांगना होगा। शुक्रवार को ईटीएफ ने बैठक में टेंडर प्रारूप अनुमोदित करके कॉरपोरेशन को नियामक आयोग से अभिमत मांगने का आदेश दिया था। यह आदेश भी ईटीएफ ने अपना पिछला वह आदेश रद्द करते हुए दिया था, जिसमें ईटीएफ की मंजूरी के बाद मामला कैबिनेट ले जाया जाना था। जानकारों के मुताबिक, पूरे मामले में निजीकरण के लिए नियुक्त सलाहकार ग्रांट थॉर्नटन के झूठे शपथ पत्र और उस पर कार्रवाई न करने की वजह से फंस रहा है। कॉरपोरेशन के इंजीनियर ऑफ कॉन्ट्रैक्ट द्वारा दोषी माने जाने के बाद भी कॉरपोरेशन सलाहकार पर कार्रवाई नहीं कर रहा है। इस वजह से नियामक आयोग उसके साथ बैठक से पहले इनकार कर चुका ...