दिल्ली, जुलाई 4 -- अंगार उगलती गर्मी जानलेवा होती है.ये जैसे-जैसे बढ़ती हैं, वैसे वैसे अस्पतालों में भीड़ तो बढ़ती ही है, अर्थव्यवस्था को भी नुकसान पहुंचता है.आखिर इस समस्या का हल क्या है?1.4 अरब की जनसंख्या वाले देश में, जहां कम से कम आधी आबादी खुले में काम करती है और सिर्फ 10 फीसदी घरों में एयर कंडीशनिंग की सुविधा है वहां गर्मी सिर्फ एक असुविधाजनक स्थिति नहीं है, बल्कि यह अर्थव्यवस्था, लोगों की रोजी-रोटी और उनके स्वास्थ्य के लिए भी एक गंभीर चुनौती है.दिल्ली विश्वविद्यालय में पर्यावरण अर्थशास्त्र की चेयर प्रोफेसर पूर्णमिता दासगुप्ता ने कहा, "भारत में गर्मी की लहरें बढ़ रही हैं.नए इलाकों में भी अब भीषण गर्मी का असर महसूस हो रहा है और गर्मी का मौसम समय से पहले ही देखने को मिल रहा है" ऐसी तपिश में, तापमान 50 डिग्री सेल्सियस से अधिक तक पहुंच...
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