कटरा, जून 6 -- प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को देश को एक ऐतिहासिक सौगात दी। उन्होंने जम्मू-कश्मीर को शेष भारत से जोड़ने वाला रेलमार्ग राष्ट्र को समर्पित किया। वैसे तो जम्मू -कश्मीर को रेलमार्ग से जोड़ने का सपना तो महाराजा हरि सिंह ने आजादी से पहले देखा था। उन्होंने अंग्रेजों के सहयोग से जम्मू-कश्मीर तक नैरो गेज टॉय ट्रेन चलाने के लिए सर्वेक्षण कराए थे। लेकिन दुरुह भौगोलिक परिस्थितियों के कारण इस पर आगे बढ़ना संभव नहीं हो पाया। बाद में इस सपने पर साल 1983 में काम शुरू हुआ था। तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने जम्मू से ऊधमपुर तक 53 किलोमीटर के रेलमार्ग की आधारशिला रखी थी। उस लाइन पर 1800 करोड़ रुपए की लागत आई थी और 22 साल बाद 2005 में प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने उद्घाटन किया था। अटल सरकार में मिली प्रोजेक्ट को रफ्तारफिर साल 20...
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