नई दिल्ली, फरवरी 13 -- दो समुदायों के बीच सशस्त्र हिंसा से जूझ रहे मणिपुर में गुरुवार को राष्ट्रपति शासन लागू कर दिया गया। विपक्षी पार्टियों ने इसे लेकर केंद्र सरकार पर निशाना साधा है। कांग्रेस का कहना है कि अगर यही काम 20 महीने पहले कर लिया जाता तो वहां पर इतने नागरिक हिंसा में नहीं मारे जाते और न ही हजारों लोगों को विस्थापित होना पड़ता। मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह ने भी कुछ दिनों पहले ही इस्तीफा दिया था, जिसके बाद आज राज्य में राष्ट्रपति शासन की घोषणा कर दी गई। कांग्रेस संचार विभाग के प्रभारी जयराम रमेश ने मणिपुर में राष्ट्रपति शासन लगाने पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि यह तब हुआ है जब सुप्रीम कोर्ट ने राज्य में ''संविधानिक तंत्र के पूर्ण रूप से ठप हो जाने'' की बात कही जिसके चलते 03 मई 2023 से अब तक 300 से अधिक लोगों की हत्या और 60,000 से ...