जमशेदपुर, मई 4 -- एमजीएम के जिस भवन में हादसा हुआ, वह अस्पताल का सबसे पुराना भवन था। यह करीब सात दशक पुराना बताया जाता है। यह पहले अनुमंडल अस्पताल हुआ करता था। इसमें कुल 212 बेड थे। 1980-85 के बीच बेड बढ़ाने के लिए इस तीन तल भवन के ऊपर एक और तल का निर्माण कराया गया था। उसी समय सर्जिकल वार्ड वाली बिल्डिंग का निर्माण हुआ था। बताया जाता है कि एमजीएम अस्पताल के साथ इसी डिजाइन पर दो और अस्पतालों का निर्माण किया गया था। इसमें गिरिडीह और धनबाद का अस्पताल शामिल है। जानकार बताते हैं कि उस समय संतलाल सचदेवा इस अस्पताल के उपाधीक्षक, जबकि 1961 में बने एमजीएम मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य सीआर बनर्जिया थे। उस समय एमजीएम कॉलेज के पास होने वाले विद्यार्थियों को इंटर्नशिप के लिए इस अस्पताल के अलावा अन्य चार जगहों पर भेजा जाता था। इनमें टीएमएच, एचईसी अस्पताल ...
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