सहरसा, अक्टूबर 24 -- कहरा, एक संवाददाता। चैनपुर गांव में गुरुवार की शाम आदि शक्ति मां काली एवं अन्य देवी-देवताओं की प्रतिमाओं का परंपरागत ढंग से विसर्जन किया गया। भक्तों ने अश्रुपूरित नेत्रों और जयकारों के बीच मां काली को विदाई दी। प्रतिमा विसर्जन के साथ ही चैनपुर में आयोजित चार दिवसीय काली पूजा और मेला का समापन हुआ। विसर्जन से पूर्व सुबह से ही मंदिर परिसर में भजन-कीर्तन और आरती का आयोजन किया गया। दिनभर माहौल भक्तिमय रहा और शाम होते ही पूरा गांव जय मां काली के नारों से गूंज उठा। डेढ़ सौ वर्ष पुरानी परंपरा अब भी जीवित: चैनपुर गांव की यह पूजा लगभग डेढ़ शताब्दी पुरानी बताई जाती है। आधुनिकता और दिखावे के इस दौर में जहाँ प्रतिमाएं वाहनों से विसर्जित की जाती हैं, वहीं चैनपुर में आज भी प्रतिमाओं को श्रद्धालु अपने कांधे पर उठाकर विसर्जन स्थल तक ल...