बगहा, अप्रैल 5 -- शहर के अर्थशास्त्री, अधिवक्ता, चाटर्ड अकाउंटेंट, छोटे-बड़े व्यापारी व कारोबारियों ने भारत से अमेरिका को निर्यात होनेवाले सामान पर टैरिफ बढ़ाने जाने पर चिंता जताई है। इनका कहना है कि यूं तो चंपारण से सीधे तौर पर यूएसए के लिए किसी सामान का निर्यात नहीं होता है लेकिन परोक्ष रूप से टैरिक की आंच से जिले के लोग भी अछूता नहीं रहेंगे। अमेरिका राष्ट्रपति की घोषणा के बाद से संभव है कि चंपारण से बासमती चावल, मर्चा चूड़ा, मिथिलांचल से मखाना और समस्तीपुर से हल्दी के निर्यात पर असर पड़ेगा। ऐसे में सरकार को व्यापार नीतियों में बदलाव कर निर्यात के वैकल्पिक केंद्र तलाशने होंगे। इससे अमेरिका बाजार पर भारत की निर्भरता कम होगी और भारत के आर्थिक ढांचे को कोई खतरा नहीं रहेगा। जानकारों ने कहा कि अमेरिकी टैरिफ से शेयर बाजार क्रैश हो रहा है तो इ...