गौरीगंज, मार्च 6 -- अमेठी। जिला मुख्यालय गौरीगंज में बने रंग की सप्लाई पड़ोसी जिले के धम्मौर तक होती है। यहां स्थानीय स्तर पर अरारोट से रंग बनाया जाता है। वहीं कानपुर से भी रंग और अबीर आती है। इसमें मिलावट की संभावना भी दुकानदार जता रहे हैं। होली का पर्व नजदीक आने के साथ रंगों की दुकानें सजने लगी हैं। शहर की चौक बाजार में अबीर-गुलाल-पिचकारी की दुकानें सजने लगी हैं। यहां पर अरारोट से बना हुआ रंग और अबीर बिकता है। इसकी कीमत 2500 रुपये किलो तक रहती है। वहीं कई दुकानदार कानपुर से बना हुआ रंग लेते हैं। बताया जाता है कि वहां रंग और अबीर सस्ते मिलते हैं। लेकिन इसमें मिलावट से इंकार नहीं किया जा सकता। हर्बल के नाम पर बिक रहे रंगों में बताशे बनाना वाले पाउडर का इस्तेमाल होता है। यह त्वचा के लिए हानिकारक होता है। अमेठी कस्बे में अबीर गुलाल की दुकान...