वाराणसी, जुलाई 13 -- वाराणसी, मुख्य संवाददाता। मानव को कभी अभिमान करना नहीं चाहिए। साथ ही अपना स्वाभिमान भी नहीं छोड़ना चाहिए। जो अभिमान करता है वह गर्त में समा जाता है। जो स्वाभिमान से रहता है उसे महादेव की प्राप्ति होती है। ये बातें कोलकाता के कथा वाचक पं. शिवम विष्णु पाठक ने कहीं। वह महमूरगंज स्थित शृंगेरी मठ परिसर में हो रही शिव महापुराण कथा के दूसरे दिन रविवार को प्रवचन कर रहे थे। कथा व्यास ने नवधा भक्ति का वर्णन किया। कहा कि नवधा भक्ति के माध्यम से हम प्रभु को पा सकते हैं। सती चरित्र का वर्णन करते हुए कहा कि जहां स्नेह न मिले वहां नहीं जाना चाहिए। चाहे वह पिता का घर ही क्यों नहीं हो। विशालाक्षी मंदिर के महंत राजनाथ तिवारी ने व्यासपीठ का पूजन किया। कथा के तीसरे दिन 14 जुलाई को श्रीशिव-पार्वती विवाह के प्रसंग को विस्तार दिया जाएगा। अं...