कटिहार, अगस्त 27 -- कटिहार, निज प्रतिनिधि। सीमांचल के जिलों में मक्का और मखाना की खेती बड़े पैमाने पर होती है l मक्का तो किसानों के लिए आर्थिक समृद्धि का द्वार खोल ही रहा है l मक्का की बलरी और डंठल भी किसानों के लिए मुनाफे का सौदा साबित हो रहा है l मखाना फोरी में मक्का की बलरी और डंठल का उपयोग कारोबारी बड़े पैमाने पर कर रहे हैं l इसको लेकर किसानों से आठ रुपया प्रति किलो की दर से बलरी की खरीद की जा रही है l मक्का तैयार होने के बाद इसकी बलरी किसानों के लिए बेकार ही साबित होती थी l घरों में भी गैस कनेक्शन होने के कारण जलावन के रूप में इसका उपयोग कम ही होता था l मखाना फोड़ने के काम में व्यापारी प्लाइ और लकड़ी का उपयोग करते थे l इसमें लागत अधिक आने से लकड़ी की जगह मक्का के बलरी का उपयोग ही अधिक होने लगा l मखाना फोड़ने का काम करने वाले सुनील नि...
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