देहरादून, अप्रैल 1 -- बच्चा यदि देर से बोलना शुरू करता है, अपने आप में गुम रहता है और किसी से घुलता मिलता या नजर नहीं मिलाता तो सावधान होने की जरूरत है। यह ऑटिज्म हो सकता है। रविवार को ओएनजीसी कम्युनिटी हॉल में देहरादून सोसायटी ऑफ पीडियाट्रिक्स एवं न्यूरो डेवलपमेंट चैप्टर ऑफ आईएपी की ओर से परिजनों से संवाद आयोजित किया गया। जिसमें 200 से ज्यादा परिजनों ने प्रतिभाग किया। बाल विकास विशेषज्ञ डॉ. श्रुति कुमार ने कहा कि हर 60 से 100 बच्चों में एक बच्चा ऑटिज्म का होता है। लड़कों में यह चार गुना होता है। इन पर शुरू से काम करना शुरू किया जाए तो ये बहुत अच्छा करते हैं और आत्मनिर्भर होते हैं। कुछ बच्चे तो जीनियस एवं पढ़ाई में बहुत अच्छे होते हैं। जल्दी इंटरवेंशन से बच्चों का ज्यादा विकास होता है। बाल रोग विशेषज्ञ डॉ. विशाल कौशिक, आईएपी की सचिव डॉ. त...